गणेशमेकदन्तं च हेरम्बं विघ्ननायकम्।
लम्बोदरं शूर्पकर्णं गजवक्त्रं नमाम्यहम्।
सुब्रह्मण्य कवच
नारद उवाच- देवेश श्रोतुमिच्छामि ब्रह्मन् वागीश तत्त्वत�....
Click here to know more..गणेश षोडश नाम स्तोत्र
सुमुखश्चैकदन्तश्च कपिलो गजकर्णकः। लम्बोदरश्च विकटो वि�....
Click here to know more..गुणा गुणज्ञेषु गुणा भवन्ति
कोई भी गुण, अच्छे लोगों के पास पहुंचकर अच्छे गुण बनते हैं �....
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