ॐ दक्षिण भैरवाय भूत-प्रेत बन्ध, तन्त्र- बन्ध, निग्रहनी, सर्व शत्रु संहारिणी कार्य सिद्ध कुरु कुरु स्वाहा।
विधि - गुलाल, गोरोचन, छारछबीला और कपूर काचरी को मिलाकर अच्छे से पीस लें । ऊपर दिये हुए मंत्र का २१ बार जाप करके दूकान या व्यापार स्थान के सामने बिखेर दें । ऐसे पांच दिन तक करें । व्यापार बंधन खुल जाएगा ।
पुरूरवा बुध और इला (सुद्युम्न) का पुत्र है।
गणेश जी बाधाओं को दूर करते हैं और सफलता प्रदान करते हैं। वे बुद्धि और विवेक भी प्रदान करते हैं। मुद्गल पुराण में गणेश जी को परमात्मा के रूप में दर्शाया गया है।
सौभाग्य के लिए श्रीविद्या मंत्र
श्रीं ॐ नमो भगवति सर्वसौभाग्यदायिनि श्रीविद्ये महाविभू....
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विष्णु दशावतार स्तुति
मग्ना यदाज्या प्रलये पयोधा बुद्धारितो येन तदा हि वेदः। म....
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