हरिद्वार में माताजी के तीन मंदिर प्रसिद्ध हैं - चंडी देवी मंदिर, माया देवी मंदिर, मनसा देवी मंदिर।
शक्ति पीठ भारतीय उपमहाद्वीप के विभिन्न हिस्सों में स्थित पवित्र स्थलों की एक श्रृंखला है, जो प्राचीन काल से अपने आध्यात्मिक महत्व के लिए पूजनीय हैं। देवी सती अपने पिता दक्ष के याग में भाग लेने गयी। वहां उनके पति महादेव का अपमान हुआ। माता सती इसे सहन नहीं कर पायी और उन्होंने यागाग्नि में कूदकर अपना प्राण त्याग दिया। भगवान शिव सती के मृत शरीर को लिए तांडव करने लगे। भगवान विष्णु ने उस शरीर पर अपना सुदर्शन चक्र चलाया। उसके अंग और आभूषण ५१ स्थानों पर गिरे। ये स्थान न केवल शक्तिशाली तीर्थस्थल बन गए हैं, बल्कि दुनिया भर के भक्तों को भी आकर्षित करते हैं जो आशीर्वाद और सिद्धि चाहते हैं।
आवाहयामि देव ! त्वमिहायाहि कृपां कुरु । कोशं वर्द्धय नित्यं त्वं परिरक्ष सुरेश्वर ! ॥ धनाध्यक्षाय देवाय नरयानोपवेशिने । नमस्ते राजराजाय कुबेराय महात्मने ॥....
आवाहयामि देव ! त्वमिहायाहि कृपां कुरु ।
कोशं वर्द्धय नित्यं त्वं परिरक्ष सुरेश्वर ! ॥
धनाध्यक्षाय देवाय नरयानोपवेशिने ।
नमस्ते राजराजाय कुबेराय महात्मने ॥