कटरा से, एक दिन वैष्णो देवी मंदिर जाने और वापस आने के लिए पर्याप्त है।
कामधेनु के श्राप की वजह से दिलीप को संतान नहीं हुई। महर्षि वसिष्ठ के उपदेश के अनुसार दिलीप ने कामधेनु की बेटी नन्दिनी की दिन रात सेवा की। एक बार एक शेर ने नन्दिनी को जगड लिया तो दिलीप ने अपने आप को नन्दिनी की जगह पर अर्पित किया। सेवा से खुश होकर नन्दिनी ने दिलीप को पुत्र प्राप्ति का आशीर्वाद दिया।
सत्यवती
महाभारत में सत्यवती कौन थी? उनका पूर्व जन्म, व्यास जी का ज�....
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ब्राह्मण का धर्म और क्षत्रिय का धर्म में भेद जानिए - महाभा....
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ग्रहाणामादिरादित्यो लोकरक्षणकारकः। विषणस्थानसंभूतां ....
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